गोरखपुर, 12 जुलाई 2024: गोरखपुर में मोहर्म के अवसर पर निकाले गए जुलूस ने पूरे शहर में धार्मिक उत्साह और समर्पण की झलक पेश की। पादरी बाजार से प्रारंभ होकर गीता वाटिका होते हुए गोलघर तक निकाले गए इस जुलूस में हजारों की संख्या में लोग शामिल हुए।
जुलूस में भाग लेने वाले लोगों ने पारंपरिक परिधान पहनकर और रंग-बिरंगे झांकियों के साथ अपनी श्रद्धा व्यक्त की। झांकियों में धार्मिक कथाओं और इतिहास की महत्वपूर्ण घटनाओं को दर्शाया गया। सजावट और लाइटिंग से सजे वाहनों ने जुलूस को और भी भव्य बना दिया। ऊंट की सवारी करते हुए बच्चों की खुशी और उत्साह को देखकर हर कोई मुस्कुराने पर मजबूर हो गया।
जुलूस के दौरान विभिन्न स्थानों पर सामुदायिक कार्यक्रमों का आयोजन भी किया गया। लोग मोहर्म के महत्व और उसकी शिक्षा पर चर्चा करते हुए देखे गए। धार्मिक गीतों और मंत्रों की गूंज से पूरा माहौल भक्तिमय हो गया था।
सुरक्षा के कड़े इंतजाम
इस बड़े आयोजन को सुचारू रूप से संपन्न कराने के लिए पुलिस और प्रशासन ने सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए थे। हर प्रमुख चौराहे और मार्ग पर पुलिस बल तैनात थे। साथ ही, ड्रोन की मदद से भी निगरानी की जा रही थी ताकि किसी भी अप्रिय घटना से बचा जा सके।
व्यापारियों की भागीदारी
जुलूस के मार्ग पर कई व्यापारियों ने अपने दुकानें सजाई और खाद्य पदार्थों की व्यवस्था की। क्वालिटी वॉल्स जैसी प्रमुख कंपनियों ने भी अपनी स्टॉल लगाई, जहां लोग आइसक्रीम का आनंद लेते दिखे। बच्चों के लिए गुब्बारे और खिलौने भी उपलब्ध थे, जो उनके आकर्षण का केंद्र बने।
समारोह का समापन
गोलघर पहुंचकर जुलूस का समापन हुआ। यहाँ पर धार्मिक नेताओं ने मोहर्म के महत्व और इसकी शिक्षाओं पर प्रकाश डाला। उन्होंने भाईचारे और सद्भावना का संदेश दिया और सभी को एकता बनाए रखने की अपील की।
मोहर्म के इस जुलूस ने एक बार फिर साबित कर दिया कि गोरखपुर के लोग अपनी संस्कृति और परंपराओं के प्रति कितने समर्पित हैं। इस आयोजन ने न सिर्फ धार्मिक भावनाओं को मजबूती दी बल्कि समाज में एकता और सद्भावना का संदेश भी फैलाया।
प्रेस रिपोर्टर – विकास सर